व्यवस्था
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- व्यवस्था मस्तिष्क की पवित्रता है , शरीर का स्वास्थ्य है , शहर की शान्ति है , देश की सुरक्षा है । जो सम्बन्ध धरन ( बीम ) का घर से है , या हड्डी का शरीर से है , वही सम्बन्ध व्यवस्था का सब चीजों से है ।— राबर्ट साउथ
- अच्छी व्यवस्था ही सभी महान कार्यों की आधारशिला है ।–एडमन्ड बुर्क
- सभ्यता सुव्यस्था के जन्मती है , स्वतन्त्रता के साथ बडी होती है और अव्यवस्था के साथ मर जाती है ।— विल डुरान्ट
- हर चीज के लिये जगह , हर चीज जगह पर ।— बेन्जामिन फ्रैंकलिन
- सुव्यवस्था स्वर्ग का पहला नियम है ।— अलेक्जेन्डर पोप
- परिवर्तन के बीच व्यवस्था और व्यवस्था के बीच परिवर्तन को बनाये रखना ही प्रगति की कला है ।— अल्फ्रेड ह्वाइटहेड